बिहार के मजदूर 50 रुपये देकर 5 साल के लिए निबंधन करा सकते हैं

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बिहार को विशेष राज्य का दर्जा देने की मांग एक बार उठी है। नीति आयोग की रिपोर्ट में बिहार की खस्ताहाली उजागर होने के बाद नीतीश कुमार ने अपनी पुरानी मांग रिपीट कर दी है।
बिहार को विशेष राज्य का दर्जा देने की मांग एक बार उठी है। नीति आयोग की रिपोर्ट में बिहार की खस्ताहाली उजागर होने के बाद नीतीश कुमार ने अपनी पुरानी मांग रिपीट कर दी है।

कोई भी मजदूर अब स्वयं शपथ-पत्र के माध्यम से अपना निबंधन करा सकता हैः मंत्री

पटना। राज्य सरकार ने मजदूरों के निबंधन की प्रक्रिया का सरलीकरण करते हुए यह व्यवस्था दी है कि कोई भी मजदूर अब स्वयं शपथ-पत्र के माध्यम से अपना निबंधन करा सकता है। पहले निबंधन कराने हेतु ठीकेदार के द्वारा सत्यापित किया जाता था। अब जिले के श्रम अधीक्षक एवं प्रखण्ड के श्रम प्रवर्तन पदाधिकारी को निर्देश दिया गया कि दाखिल किये जाने वाले स्वयं शपथ-पत्र की गहन जाँच की जाए, ताकि कोई गैर मजदूर निबंधित न होने पाए। इसके अलावा पूर्व में प्रति मजदूरों से 20 (बीस) रुपये निबंधन शुल्क के रूप लिया जाता था, जिसकी अवधि एक वर्ष के लिए होती थी। समयावधि कम होने के कारण निबंधन का नवीकरण कराने में मजदूरों को काफी परेशानी होती थी। वर्तमान सरकार मजदूरों को हो रही परेशानी को दूर करने हेतु निबंधन शुल्क 50 रुपये कर दिया गया है। अब निबंधन की अवधि पाँच वर्ष होगी। बिहार के श्रम संसाधन मंत्री विजय कुमार सिन्हा ने समीक्षा बैठक के बाद यह जानकारी दी। उन्होंने बताया कि निबंधित श्रमिकों को श्रम संसाधन विभाग द्वारा मिलने वाले सभी 13  योजनाओं का लाभ सभी लाभार्थियों को शत-प्रतिशत मिले, इसके लिए पदाधिकारियों को गति लाने का निर्देश दिया गया है।

बाल श्रमिक से संबंधित समीक्षा के क्रम में पदाधिकारियों द्वारा बताया गया कि भागलपुर के सुलतानगंज प्रखण्ड एवं नालन्दा के एकंगरसराय प्रखण्ड कुछ अपवादों को छोड़कर बाल श्रम से मुक्त हो चुके हैं। अन्य जिलों के तहत आने वाले नगर निगम, नगर परिषद एवं नगर पंचायत को 26 जनवरी, 2019 तक प्रतिष्ठानों से बाल श्रम मुक्त करने का प्रयास हर हाल में करने का मंत्री ने निर्देश दिया। इस कार्य में लगी सामाजिक संस्थाओं से भी सहायता लेने का निर्देश वरीय पदाधिकारियों को दिया गया। बाल श्रम से विमुक्ति हेतु आम जन की भागीदारी हेतु एक हेल्प लाइन वाट्सएप नं.- 9471229133 जारी किया गया है। इस पर किसी प्रतिष्ठान में बच्चों द्वारा कार्य करते हुए पाए जाने पर उसकी जानकारी विभाग को दी जा सकती है।

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श्रम संसाधन विभाग द्वारा चलाई जा रही स्वास्थ्य चिकित्सा संबंधी योजना के तहत एक लाख अस्सी हजार मजदूरों के खातों में तीन-तीन हजार रुपये भेजे जा चुके हैं। शेष निबंधित मजदूरों का सत्यापन किया जा रहा है। निबंधित मजदूरों को जल्द से जल्द सत्यापन कर स्वास्थ्य चिकित्सा योजना का लाभ देने हेतु मंत्री ने वरीय पदाधिकारियों को निर्देश दिया।

नियोजन भवन स्थित प्रतिबिम्ब सभागार में श्रम संसाधन विभाग के मंत्री श्री विजय कुमार सिन्हा द्वारा श्रम पक्ष के राज्यस्तरीय पदाधिकारियों के साथ समीक्षा बैठक की गयी। इस समीक्षा बैठक में विशेष सचिव, श्रम संसाधन विभाग, श्री के. सेंथिल कुमार, श्रमायुक्त, बिहार, श्री गोपाल मीणा, संयुक्त श्रमायुक्त, उप श्रमायुक्त, सहायक श्रमायुक्त एवं जिले के श्रमाधीक्षक उपस्थित थे। मंत्री द्वारा पूर्व में की गयी समीक्षात्मक बैठक में श्रम पक्ष के पदाधिकारियों को दिए गए निर्देश/निर्णय के संबंध में जानकारी प्राप्त की गई। मजदूरों के निबंधन संबंधी समीक्षा में कुछ जिले, जो दिए गए लक्ष्य की प्राप्ति नहीं कर पाए थे, उनको पुनः एक महीने का समय देते हुए अगली बैठक में लक्ष्य प्राप्त करने का निर्देश मंत्री ने दिया।

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