भारतीय जनता पार्टी को बाहरी बताने वाली ममता को जवाब

0
307
बंगाल विधानसभा चुनाव नतीजों के बाद दो दिनों से हिंसा का दौर आज भी जारी रहा। इस हिंसा में अब तक भाजपा समर्थक 6 लोगों की जान जा चुकी है।
बंगाल विधानसभा चुनाव नतीजों के बाद दो दिनों से हिंसा का दौर आज भी जारी रहा। इस हिंसा में अब तक भाजपा समर्थक 6 लोगों की जान जा चुकी है।
  • डी. कृष्ण राव

कोलकाता। भारतीय जनता पार्टी को बहिरागत (बाहरी) बता कर बंगाल की अस्मिता को खतरा बताने वाली ममता बनर्जी को बीजेपी ने जवाब देना शुरू कर दिया है। बंगाल विधानसभा के चुनाव में भाजपा के खिलाफ सत्ताधारी तृणमूल कांग्रेस का सबसे बड़ा मुद्दा बंगाली अस्मिता ही है।

तृणमूल कांग्रेस बंगाल के लोगों के सामने भाजपा को गैर बंगाली, बाहरी बता कर बंगाली संस्कृति व महापुरुषों के बारे में अनजान साबित करने की हरसंभव प्रयास कर रही है। लेकिन भाजपा भी लोगों में बंगाली अस्मिता के प्रति अपना नजरिया साफ करने की जी तोड़ प्रयास करने में कहीं चूक नहीं रही।

- Advertisement -

बंगालियों के लिए सबसे संवेदनशील मुद्दा नेता जी सुभाष चंद्र बोस, विवेकानंद, रवींद्रनाथ टैगोर रहे हैं। बीजेपी इन सबको भुनाने के प्रयास में अभी से लग गयी है। नेताजी सुभाष चंद्र बोस के जन्मदिन 23 जनवरी को नरेंद्र मोदी की सरकार ने पराक्रम दिवस के रूप में मनाने की घोषणा की है। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी खुद 23 जनवरी की सुबह कोलकाता स्थित नेताजी भवन में आयोजित कार्यक्रम में भाग लेंगे। उसके बाद वे विक्टोरिया मेमोरियल में आयोजित कार्यक्रम में भाग लेंगे।

बीजेपी की योजना के मुताबिक नरेंद्र मोदी विक्टोरिया मेमोरियल का नामकरण नेताजी के नाम पर करने की घोषणा कर सकते हैं। जानकारों का मानना है कि यह बंगाली अस्मिता की दिशा में बीजेपी का बड़ा कदम होगा। ध्यान रहे कि इसके अलावा रास बिहारी बसु के जन्मदिन पर गृह मंत्री अमित शाह ने ट्वीट कर श्रद्धा सुमन अर्पित किये थे। कालका मेल का नाम नेता जी के नाम कर बीजेपी ने पहले ही बंगाली अस्मिता से अनजान रहने के ममता बनर्जी के दावे पर पानी फेर दिया है। अब तो लोकल ट्रेनों में रविंद्र संगीत बजाने की भी रेलवे ने घोषणा की है। इस पर तृणमूल कांग्रेस का आरोप है कि चुनाव में लोगों को लुभाने की बीजेपी की यह चाल है।

तृणमूल कांग्रेस भाजपा को  बाहिरागत साबित करने की जी तोड़ कोशिश कर रही है। प्रत्येक जनसभा में तृणमूल सुप्रीमो ममता बनर्जी भाजपा के केंद्रीय नेताओं को बाहरी कह कर तंज कसती रही हैं। इसी के जवाब में भाजपा के केंद्रीय नेता खुद को बंगाली अस्मिता से जुड़े होने की स्थिति साफ कर रहे हैं। बीजेपी के राष्ट्रीय अध्यक्ष जेपी नड्डा, गृहमंत्री अमित शाह से लेकर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी तक सभी नेता बंगाली अस्मिता पर संवेदनशीलता के साथ निर्नय ले रहे है।

बंगाल की भावना को ध्यान में रखते भाजपा के नेता कभी गुरुदेव रविंद्रनाथ टैगोर तो कभी विवेकानंद को याद कर रहे हैं। बंगाल के लोकगीत, बाउल और अन्य कलाकारों को भी महत्व देते हुए उनके घर में भोजन कर या मिल कर उनकी कला को महत्व देने की चेष्टा कर रहे हैं, ताकि बंगाल के लोग उन्हें अपना लोग समझे।

बंगाल के प्रति अपना प्रेम जताने या हर तरह की चिंता करने का उदाहरण प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने पेश किया है। दो दिन पहले जलपाईगुड़ी में हुई वाहन दुर्घटना में मृत लोगों के परिजनों और घायल लोगों को प्रधानमंत्री कार्यालय ने सूचना मिलते ही मुआवजे की घोषमा कर दी। पीएम ने दुख भी जताया। यह अलग बात है कि ममता बनर्जी ने उनसे एक कदम आगे निकलने की कोशिश की और मुआवजे की रकम का चेक पहले भेज दिया। आमतौर पर राज्यों में होने ऐसी घटनाओं में राज्य सरकारें ही मुआवजे की घोषणा करती है, लेकिन चुनावी मौसम होने और सहानुभूति अर्जित करने के उद्देश्य से प्रधानमंत्री ने मुआवजे की घोषणा कर दी।

यह भी पढ़ेंः भारतीय जनता पार्टी को ममता बनर्जी ने भारतीय जंक पार्टी कहा(Opens in a new browser tab)

- Advertisement -