नीतीश कुमार व डीजीपी गुप्तेश्वर पांडेय का गुणगान कर रहा एक पत्रकार

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फाइल फोटोः नीतीश कुमार व सुशील कुमार मोदी
फाइल फोटोः नीतीश कुमार व सुशील कुमार मोदी

हाल ही बिहार दौरे पर आये पत्रकार धीरेन्द्र नाथ श्रीवास्तव ने बदलते बिहार को देख नीतीश कुमार और डीजीपी गुप्तेशवर पांडेय की खूब तारीफ की है। उन्होंने अपने फेसबुक वाल पर बिहार के बदलाव का जिक्र किया है। उन्होंने लिखा हैः दो दिन से पटना में हूँ। पटना में पियक्कड़ी कहीं नहीं दिखी। सड़क पर तो कहीं दिखी ही नहीं। उन बदनाम अड्डों पर भी नहीं, जो शराबबंदी से पहले कानून के पीछे लाठी डालकर शराब बेचते और पीते-पिलाते रहते थे। यह कोई मामूली काम नहीं है। इसलिए इस कठोर और असम्भव जैसे निर्णय को अमली रूप देने में लगे मुख्यमंत्री श्री नीतीश कुमार और उनकी टीम को बधाई।

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बधाई बिहार के पुलिस महानिदेशक श्री गुप्तेश्वर पाण्डेय को भी और बिहार के उन पुलिस कर्मियों को भी जो पटना को इस स्थिति तक तो ला ही दिए कि सड़क पर पियक्कड़ी नहीं। आया था जेपी दर्शन के लिए। उत्तर प्रदेश सरकार के पूर्व मन्त्री श्री ओमप्रकाश जी के सौजन्य से। इस दौरान सड़कों पर दिखने वाली वह शराबबाजी नहीं दिखी जिसे अपने बिहार के कार्यकाल के दौरान मैंने कह खुद भी देखा था।

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बदले पटना को देखकर तबियत प्रसन्न हो गई और चले गए हम लोग बिहार के पुलिस महानिदेशक श्री गुप्तेश्वर पाण्डेय को बधाई देने। वाह सरदार पटेल भवन, कहीं पान का एक छींटा भी नहीं दिखा। यहाँ ओमप्रकाश जी और गुप्तेश्वर पाण्डेय गले मिलते देख मुझे लगा कि कर्मनाशा के दोनों किनारे मिल रहे हैं।

श्री गुप्तेश्वर पाण्डेय जी हम लोगों का रिश्ता कर्मनाशा इस पार और उस पार का है जो कल भी था, आज भी है और कल भी रहेगा। इन रिश्तों में शिकवा शिकायतें भी हैं और वह प्रेम भी जो बहुत दूर दूर रहने के बाद भी मन को, विचार को जोड़े रहता है। मन तो मुख्यमंत्री श्री नीतीश कुमार को भी बधाई देने का है लेकिन कल दिल्ली पहुँचना है, समाजवादी समागम में भाग लेने तथा 11 अक्टूबर के कार्यक्रम के सिलसिले में, इसलिए बधाई वाया फेसबुक।

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11 जुलाई से 14 तक  दिल्ली में रहना है। बड़े भाई श्री राजकुमार जैन, डाक्टर आनंदकुमार, आईटीएम यूनिवर्सिटी के संस्थापक और समाजवादी विचारक श्री रमाशंकर सिंह, जुझारू संघर्ष के पर्याय भी सुनीलम, वरिष्ठ पत्रकार श्री कुर्बान अली के वैचारिक विमर्श की छत्रछाया में गुजरेगा, इसे लेकर अभी से रोमांचित हूँ।

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वैसे मेरे कई मित्र मानने को तैयार नहीं हैं कि बिहार में शराब बंदी सफल हैं। वे लोग बोल रहे हैं कि इसकी वजह से शराब तस्करी एक बड़े कारोबार के रूप में फैल गई है। हो सकता है कि मित्रों की राय सही हो, फिर भी मेरी राय में बिहार सरकार का शराबबन्दी का निर्णय सही है, सराहनीय है। यह प्रयास एक दिन राष्ट्रीय स्वरूप ग्रहण करेगा और इसके लिए बिहार के मुख्यमंत्री श्री नीतीश कुमार जी को राष्ट्रनायक के रूप में याद किया जायेगा। साथ ही इस नेक कार्य के क्रियान्वन के लिए पुलिस महानिदेशक, बिहार, श्री गुप्तेश्वर पांडेय  को भी इसके हीरो के रूप में तथा उनकी पुलिस को जनमित्र के रूप में याद किया जाएगा। होगा क्या? मैं नहीं जानता फिर भी ईश्वर से प्रार्थना करता हूँ कि वह शराबबन्दी को सफल बनाए।

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